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आयुष्मान भारत योजना से इलाज कराने के पहले यह बातें जरूर ध्यान रखें, नहीं जो हो सकता है धोखा

आयुष्मान भारत योजना का लाभ लेने के लिये अपनाये यह प्रक्रिया एवं आवश्यक निर्देश

आयुष्मान भारत योजना के तहत अगर आप इलाज करवान जा रहा है तो पहले आपको इन सभी बातों की जानकारी होना चाहिये। शासन की आयुष्मान भारत योजना जरूरतमंदों के लिये काफी महत्वपूर्ण है। इसके जरिये पात्र व्यक्ति काे 5 लाख रुपए तक का मुफ्त इलाज निजी अस्पताल में कराया जा सकता है। इस कारण जरूरतमंद तबके के लिये यह योजना वरदान बनकर आई है। लेकिन भोलेभाले व्यक्ति को योजना के नियम कायदों की जानकारी नहीं होती है और ऐसे में वो अकसर ठगी का शिकार हो जाता है।

आयुष्मान भारत योजना में हितग्राहियों को निशुल्क उपचार प्रदान करने के लिए प्रक्रियाओं और निर्देशों की जानकारी सरकार द्वारा जारी की गई है। उन्होंने कहा कि इन प्रक्रियाओं और निर्देशों का पालन करके हितग्राही आयुष्मान भारत योजना के अंतर्गत निःशुल्क उपचार का लाभ सहजता से प्राप्त कर सकते हैं।

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अस्पताल में जाकर आयुष्मान मित्र से संपर्क करें

अस्पताल पहुँचने के बाद सबसे पहले आयुष्मान योजना के लिए पंजीकृत कियोस्क का पता करें और अपने दस्तावेज़, जैसे आयुष्मान कार्ड, आधार कार्ड, राशन कार्ड, समग्र आईडी, पात्रता पर्ची, संबल कार्ड या BoCW कार्ड को आयुष्मान मित्र को दिखाएं। पात्रता सत्यापन के दौरान आयुष्मान मित्र आपके आयुष्मान कार्ड और आधार/समग्र आईडी का मिलान करेगा और उपचार के लिए अस्पताल की पात्रता सुनिश्चित करेगा। सत्यापन के बाद, आयुष्मान मित्र आपको निःशुल्क उपचार की प्रक्रिया समझाएगा और चिकित्सीय परामर्श तथा उपचार की प्रक्रिया शुरू होगी।

उपचार के दौरान राशि का भुगतान करने की आवश्यकता नहीं

उपचार के दौरान हितग्राही को किसी भी प्रकार की राशि का भुगतान करने की आवश्यकता नहीं है। यदि किसी उपकरण, दवा या सेवा के लिए अस्पताल द्वारा अतिरिक्त राशि चार्ज की जाती है, तो हितग्राही को तुरंत हेल्पलाइन नंबर पर इसकी जानकारी देनी चाहिए। उपचार पूरा होने के बाद डिस्चार्ज के समय “निल (शून्य बकाया)” राशि का बिल प्राप्त करना सुनिश्चित करें और अस्पताल से मंगलकामना पत्र लेना न भूलें।

अगर कोई अस्पताल रूपए मांगे तो यहां शिकायत करें

इलाज के बाद संबंधित व्यक्ति को फीडबैक फॉर्म को सही जानकारी के साथ जरूर भरना चाहिए साथ ही हस्ताक्षर भी। यदि किसी स्तर पर अतिरिक्त राशि की मांग की जाती है या किसी प्रकार की असुविधा होती है, तो हितग्राही को तुरंत NHA हेल्पलाइन नंबर 14555 या SHA मध्यप्रदेश हेल्पलाइन नंबर 18002332085 पर शिकायत दर्ज करायें।

इलाज के लिये क्या करना है (Do’s):

हितग्राही को चाहिए कि वे अपने आवश्यक दस्तावेज जैसे आयुष्मान कार्ड, पात्रता पर्ची, आधार कार्ड, राशन कार्ड और समग्र आईडी अपने साथ रखें। अस्पताल पहुँचते ही आयुष्मान कियोस्क पर जाएं और आयुष्मान मित्र से अपनी पात्रता की पुष्टि करवाएं। यह सुनिश्चित करें कि अस्पताल आपकी बीमारी से संबंधित स्पेशलिटी के लिए पैनल में शामिल है। पात्रता की पुष्टि होने के बाद निःशुल्क उपचार प्रक्रिया को समझें और उसका पालन करें। डिस्चार्ज के समय “निल (शून्य बकाया)” राशि का बिल प्राप्त करें और फीडबैक फॉर्म को सही जानकारी के साथ भरें। साथ ही, अस्पताल से मंगलकामना पत्र लेना न भूलें।

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क्या नहीं करना है (Don’ts)

हितग्राही को कभी भी आवश्यक दस्तावेजों को अस्पताल ले जाना नहीं भूलना चाहिए। निःशुल्क उपचार के दौरान किसी भी परिस्थिति में अस्पताल को अतिरिक्त राशि का भुगतान न करें। यदि किसी विशेष परिस्थिति में राशि मांगी जाती है, तो उसकी उचित रसीद प्राप्त करना सुनिश्चित करें। किसी भी प्रकार की असत्यापित जानकारी पर भरोसा न करें और किसी भ्रम की स्थिति में तुरंत आयुष्मान मित्र से संपर्क करें। फीडबैक फॉर्म को बिना पढ़े या अधूरी जानकारी के साथ हस्ताक्षर न करें। यदि किसी भी प्रकार की अनियमितता हो, तो शिकायत दर्ज करने में देरी न करें।

-हरिओम राय

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