उज्जैनमध्यप्रदेश

भैरवगढ़़ जेल घोटाले में पूर्व जेल अधीक्षक उषा राज भी गिरफ्तार

मुख्‍य सरगना रिपुदमन को बनारस से पकड़कर उज्जैन लाए

समाचार आज । उज्जैन

केंद्रीय भैरवगढ़ जेल में हुए घोटाले में सबसे बड़ी गिरफ्तारी हुई है। पुलिस ने पूरे कांड के मास्टरमाइंड रिपुदमन को यूपी के बनारस से पकड़ लिया। इंदौर के हॉस्पिटल में भर्ती पूर्व जेल अधीक्षक उषा राज को उज्जैन में पूछताछ के लिए बुलाने के बाद गिरफ्तार कर लिया गया।

भैरवगढ़ जेल में करीब 15 करोड़ के गबन मामले में पुलिस को बड़ी सफलता हाथ लगी है। जेल में अकाउंट का कार्य संभालने वाला 68 कर्मचारियों के भविष्य निधी खाते से 15 करोड़ रुपए का गबन कर फरार चल रहे रिपुदमन को पुलिस ने यूपी से गिरफ्तार किया है। जेल अधीक्षक रही उषा राज को भी पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है।

एडिशनल एसपी इंद्रजीत बकरवाल ने इसकी पुष्टि कर कहा कि दोनों से पूछताछ के बाद कुछ और नाम बढ़ने की संभावना है। एसएसपी सत्येंद्र कुमार शुक्ल ने रिपुदमन पर 5 हजार रुपए ईनाम घोषित कर दिया था। उसे तलाशने के लिए एसआई बल्लू मंडलोई,रविंद्र कटारे सहित चार पुलिसकर्मी सांवेर थाने में पदस्थ उसके भाई आरक्षक आदर्श प्रताप को लेकर बनारस स्थित उसके गांव गए थे। वहां तीन दिन के प्रयास के बाद शुक्रवार दोपहर टीम ने रिपुदमन को दबोच लिया। इस पूरे कांड में उषा राज की भूमिका स्पष्ट होने के बाद शाम को पुलिस उन्हें इंदौर के हॉस्पिटल से ले आई और पूछताछ शुरू कर उनको भी गिरफ्तार कर लिया गया।

जल्द खुलेंगे राज

पुलिस की मने तो रिपूदमन के पकड़ाने के बाद अब जल्द ही पूछताछ के बाद पता चलेगा कि घोटाला कब से और कैसे किया जा रहा था। इसमें कौन कौन शामिल था। गबन की राशि किस किस के खाते में गई सटोरिए रोहित चौरसिया, रिंकू मांदरे व हरिश गेहलोद से भी सामना कराया जाएगा। मामले मे पुलिस को अब प्रहरी शैलेंद्र सिकरवार व धर्मेद्र लोधी सटोरिये,सुशील परमार,पिंटू तोमर,अमित मीणा की तलाश है।

मुख्‍य सरगना रिपुदमन सिंह

मामले में किसकी क्या भूमिका

पुलिस का मानना है कि रिपूदमन से पूछताछ के बाद पता चलेगा कि घोटाला कब से कैसे और किसकी मिली भगत से किया जा रहा था। गबन की राशि में से कितने से प्रापर्टी,जेवरात खरीदे किसके यहा सट्टा लगाया और किसको कितने के गिफ्ट दिए। उसका उषाराज और पांच दिन के रिमांड पर चल रहे सटोरिए रोहित चौरसिया, रिंकू मांदरे व हरिश गेहलोद से भी सामना कराया जाएगा। मामले मे पुलिस को अब पांच हजारी के ईनामी प्रहरी शैलेंद्र सिकरवार व धर्मेद्र लोधी सटोरिये, सुशील परमार, पिंटू तोमर, अमित मीणा सहित की तलाश है।

गबन कांड एक नजर में

१० मार्च को गबन कांड सामने आया था। ११ मार्च को केस दर्ज होते ही रिपूदमन फरार हो गया। जेल विभाग की जांच में १५ करोड़ का घोटाला होने का पता चलते ही १४ मार्च को प्रहरी शैलेंद्र सिकरवार व धर्मेद्र लोधी भी भाग गए। १५ मार्च को जेल अधीक्षक को हटाने के लिए कर्मचारी परिवार सहित धरने पर बैठ गए थे। विधायक महेश परमार ने विधानसभा में प्रश्र लगाकर गृहमंत्री को ज्ञापन सौंपा। १६ मार्च को जांच रिपोर्ट मिलने के अगले दिन जेल डीजी अरविंदकुमार ने अधीक्षक उषाराज को हटाकर हिमानी मनवारे का प्रभार सौंपने के आदेश दिए।१८ मार्च जेलकर्मियों के परिजनों ने खुशियां मनाई, मनवारे ने चार्ज लिया था और उषाराज को पुलिस ने हिरासत में लिया। बाद में वह इंदौर भर्ती हो गई। २१ मार्च को एसएसपी शुक्ल ने रिपूदमन व शेलेंद्रसिंह पर ५-५ हजार का ईनाम घोषित कर दिया। वहीं सटोरिए रोहित चौरसिया, रिंकू मांदरे व हरिश गेहलोद रिमांड पर है।

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