भगवान महाकाल के जलाभिषेक की भी फर्जी रसीद, दो पकड़े गये

हरिओम राय
समाचारआज । उज्जैन
विश्व प्रसिद्ध श्री महाकालेश्वर मंदिर में मंगलवार को सुबह मंदिर के पंडे-पुजारी ने फर्जी जलाभिषेक रसीद 18 अप्रैल 2023 को पकड़ी। रसीद पर तारीख बदलकर चार श्रद्धालुओं को गर्भगृह में प्रवेश कराया जा रहा था। रसीद की जांच के बाद श्रद्धालुओं से ठगी करने वाले दो युवकों को महाकाल थाने पर बैठाया है। मंदिर प्रशासन जांच के बाद थाने पर रिपोर्ट दर्ज कराएगा। बता दें कि भस्म आरती के नाम पर ठगी करने के मामले में शामिल 7 लोगों को पुलिस ने गिफ्तार किया है।
महाकालेश्वर मंदिर के बाहर सिर्फ भस्मारती ही नहीं बल्कि एक ओर गिरोह सक्रिय था। इस गिरोह के दो सदस्यों को मंदिर समिति के कर्मचारी और पंडे-पुजारियों ने महाकाल पुलिस के सुपूर्द कर दिया है। इनके नाम योगेंद्र और विष्णु बैरागी बताए जा रहे है। मगलवार 18 अप्रैल 2ृ023 को दिल्ली से चार श्रद्धालु हनी सहगल, विष्णु शंकर पांडेय, आशीष सहगल और अंकुश दर्शन करने आए थे। चार नंबर गेट के नजदीक विष्णु बैरागी और योगेंद्र ने इनसे संपर्क किया और गर्भगृह के भीतर से जलाभिषेक कराने का कहकर इनसे 3100 रूपए पेटीएम के जरिए और 3100 रूपए नगद ले लिए। दोनों ने दिल्ली से आए दर्शनार्थियों को मंदिर प्रबंध समिति की पुरानी रसीद पर नई सील लगाकर दे दी।
पुरोहित भी हैरत में-मेरे नाम की रसीद कैसे कट गई
भीतर सभा मंडप में रसीद की जांच के दौरान यह फर्जी पाई गई। दरअसल, पर्ची पर जिस पुरोहित का नाम लिखा है, उन्होंने खुद ही मंदिर के अधिकारियों को बताया कि मेरा तो आज कोई यजमान ही नहीं है, फिर मेरे नाम की रसीद कैसे कटकर आ गई। इस खुलासे के बाद मंदिर के पंडे-पुजारियों और कर्मचारियों ने गेट नंबर चार के पास से विष्णु और योंगेंद्र को दबोचा व पुलिस के हवाले कर दिया। दोनों गर्भगृह प्रवेश की पुरानी रसीदें कहा से लेकर आए, इस बारे में पुलिस पूछताछ कर रही है।
महाकाल मंदिर गर्भगृह में प्रवेश के नाम पर ठगी:दिल्ली के दो श्रद्धालुओं से 3100 रुपए पेटीएम कराए ,मंदिर के पुजारी-पुरोहित ने दो लोगों को पकड़कर पुलिस के हवाले किया।
विश्व प्रसिद्ध श्री महाकालेश्वर मंदिर में महाकाल लोक के बाद से ही भक्तों की तादाद बढ़ गई है। ऐसे में मंदिर के बाहर के घूमने वाले दलाल फिर सक्रिय होकर बाबा महाकाल के भक्तों के साथ भस्म आरती, टिकट से दर्शन कराने के नाम पर ठगी की वारदात करते है। मंगलवार को दिल्ली से आए हनीष सहगल, विष्णु शंकर पांडे, आशीष सहगल और मंकुश भोपाल नामक चारों श्रद्धालुओं को मंदिर के चार नंबर गेट पर विष्णु बैरागी और योगेंद्र नामक युवक मिले थे। दोनो ने श्रद्धालुओं को गर्भगृह में जाकर भगवान महाकाल का जलाभिषेक कराने का हवाला देकर उनसे 3100 सौ रूपए पेटीएम करा लिए थे। राशि मिलने के बाद पंडे-पुजारियों के नाम पर कटने वाली 1500 सौ रूपए की जलाभिषेक की पुरानी रसीद पर 18 अप्रैल की तारीख की सील लगाकर दे दी। श्रद्धालु जब मंदिर के अंदर प्रवेश कर रहे थे, उस दौरान रसीद पर की गई कांटछांट को मंदिर के पंडे-पुजारी ने पकड़ा। इसके बाद सूचना मंदिर के सहायक प्रशासक मूलचंद जूनवाल को दी। मंदिर प्रशासन ने रसीद की जांच की तो पुरानी रसीद पर नई तारीख डालकर ठगी करने का मामला सामने आया। चारों श्रद्धालुओं की शिकायत पर फर्जी रसीद देने वाले विष्णु बैरागी और योगेंद्र नामक युवक को महाकाल थाने पर बैठाया है। मंदिर के सहायक प्रशासक मूलचंद जूनवाल ने कहा कि मंदिर प्रशासन इस मामले में जांच के बाद एफआईआर दर्ज कराएगा। दो दिन पहले ही मंदिर प्रशासन ने शिकायत के बाद भस्म आरती के नाम पर 4500 रूपए लेकर दिल्ली के श्रद्धालुओं के साथ ठगी करने के मामले में एफआईआर दर्ज कराई है।