उज्जैनमध्यप्रदेश

प्रधानमंत्री का ड्रीम प्रोजेक्ट इंदौर-उज्जैन की रफ्तार बढ़ायेगा

इंदौर से गुजरने वाला दिल्ली-मुंबई औद्योगिक कॉरिडोर मालवा की दुरियां घटा देगा प्रमुख शहरों से

समाचार आज। उज्जैन।

आने वाले दिनों में उज्जैन व इंदौर शहर कई राज्यों से सीधे जुड़ जाएगा। इंदौर से गुजरने वाले (दिल्ली-मुंबई औद्योगिक कॉरिडोर) डीएमआईसी (सिक्स लेन) से यह संभव हो सकेगा। नए फोरलेन को बनाकर इंदौर को दिल्ली-मुंबई हाईवे से जोड़ देंगे, जिससे कम समय में लोग गंतव्य पहुंच सकेंगे। मालवा क्षेत्र की तस्वीर बदलने वाले और प्रधानमंत्री के ड्रीम प्रोजेक्ट को नेशनल अथारिटी आफ इंडिया अमल में लाएगा। 3500 करोड़ में डीएमआईसी से मालवा को जोड़ दिया जाएगा। आगामी 18 जनवरी तक यह प्रोजेक्ट फाइनल हो जाएंगे। इसमेें 2900 करोड़ के प्रोजेक्ट भी शामिल है। शेष 600 करोड़ से 42 किलोमीटर सडक़ बनेगी।

प्रदेश से गुजर रहे (दिल्ली-मुंबई औद्योगिक कॉरिडोर) डीएमआईसी को ए से लेकर ई के बीच बांटा मार्क किया गया है। इसमें सबसे अहम पाइंट है सी, जो गरोठ में है। इसी पाइंट से उज्जैन, देवास और इंदौर को जोड़ा जाएगा। इसके लिए 135 किलोमीटर लंबी सडक़ प्लान की गई है, जो तीन पैकेज में बनना है। पहले पैकेज में चंदेसरी से खेड़ा खजूरिया, दूसरे में खेड़ा खजूरिया से सोहादड़ी और तीसरा पैकेज सोहादड़ी से बरदिया आगरा के बीच फोरलेन बनेगा। पहले पैकेज का टैंडर 18 जनवरी को खुलेगा। इस पैकेज में 41.400 किलोमीटर लंबे फोरलेन निर्माण की अनुमति लागत 678.22 करोड़ आंकी गई है। वहीं, दूसरे पैकेज में 48 किलोमीटर लंबे फोरलेन के लिए 637.94 और तीसरे पैकेज में 46.35 किलोमीटर लंबे फोरलेन के लिए 578.22 करोड़ के टैंडर जारी किए गए हैं। विभागीय अधिकारियों की मानें तो मार्च तक तीनों पैकेज का काम शुरू हो जाएगा। इसके अलावा इंदौर से देवास तक कुल 42 किलोमीटर का काम अवार्ड हो चुका है। इंदौर-देवास, सिक्सलेन से देवास उज्जैन बायपास होते हुए भी इस फोरलेन पर पहुंचेंगे। इसकी लागत 600 करोड़ है। काम जल्दी हो, इसलिए अलग-अलग पैकेज में टेंडर जारी किए हैंै ताकि देवास-शिवपुरी रोड की तरह जल्दी फोरलेन बने। तीनों पैकेज पूरे करने के लिए 610 दिन की समयसीमा तय की गई है।

क्या है डीएमआईसी

मालवा क्षेत्र से देश का सबसे लंबा एक्सप्रेस वे दिल्ली-मुंबई 8 लेन एक्सप्रेस वे गुजर रहा है। यह एक्सप्रेस वे प्रदेश के तीन जिलों मंदसौर, रतलाम और झाबुआ से गुजरेगा। प्रदेश के इन तीनों जिलों में एक्सप्रेस वे की लंबाई कुल 245 किलोमीटर है। 245 किलोमीटर में से 106 किलोमीटर का कारिडोर तैयार है। बाकी नवंबर 22 तक पूरा हो जाएगा। इस एक्सप्रेस वे की कुल लंबाई 1350 किलोमीटर है। इस प्रोजेक्ट के पूरा होने से दिल्ली-मुंबई का सफर 12 घंटे में तय हो जाएगा।

कम होगा 50 किलोमीटर का सफर

विभागीय अधिकारियों के अनुसार, अभी इंदौर से गरोठ जाने के लिए घूमकर 240 किलोमीटर का सफर तय करना पड़ता है। साढ़े चार से पांच घंटे लगते हैं। नया फोरलेन बनने के बाद इंदौर से गरोठ के बीच की दूरी घटकर 190 किलोमीटर रह जाएगी। जिससे सवा दो से ढाई घंटे लगेंगे।

उज्जैन-बदनावर भी होगा फोरलेन

एनएचएआई उज्जैन से बदनावर के बीच भी 69.1 किलोमीटर लंबा फोरलेन बनाने जा रहा है, जो उज्जैन से करीब 30 किलोमीटर दूर शुरू होगा। इस फोरलेन के माध्यम से बदनावर-उज्जैन के जरिए भोपाल और कोटा तक फोरलेन से जुड़ जाएगा। इस प्रोजेक्ट की लागत 932.65 करोड़ रुपए आंकी गई है। 7 जनवरी को टैंडर प्रक्रिया पूरी हो गई है। मार्च तक काम शुरू हो जाएगा।

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